सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक वीडियो शेयर किया जा रहा है। इस वीडियो में कांग्रेस पार्टी के घोषणापत्र को लेकर कई दावे किए गए हैं।
एक व्यक्ति बता रहा है कि कांग्रेस ने अपने घोषणापत्र में कहा है कि- आर्टिक 370 को दोबारा लागु किया जाएगा, सीएए निष्क्रिय कर दिया जाएगा, एंटी कर्वर्ज़न लॉ, न्यू एजूकेशन पॉलिसी, NSA, मृत्यूदंड हटा दिया जाएगा, इंडिया को क्वाड समूह (भारत, अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और जापान) अलग कर दिया जाएगा और तो और भारत से न्यूक्लियर हथियार को भी खत्म कर दिया जाएगा, ताकि कभी कोई जंग हो तो चीन-पाकिस्तान न्यक्लियर हथियर के दम पर भारत पर क़ब्ज़ा कर लें, इंडिया हार जाए।
फ़ैक्ट-चेक
वीडियो में किए गए उपरोक्त दावे की पड़ताल के लिए DFRAC टीम ने कांग्रेस पार्टी की घोषणापत्र को देखा, जो ऑनलाइन उसकी वेबसाइट पर मौजूद है।
DFRAC टीम ने पाया कि कांग्रेस के घोषणापत्र में 370 पर कोई बात नहीं की गई है, बल्कि संघवाद और केंन्द-राज्य संबंध के हवाले से पेज न. 36 पर कहा गया है कि- हम जम्मू-कश्मीर को तुरंत पूर्ण राज्य का दर्जा बहाल करेंगे। हम लद्दाख के जनजातीय क्षेत्रों को शामिल करने के लिए संविधान की छठी अनुसूची में संशोधन करेंगे।
न्यू एजूकेशन पॉलिसी को लेकर कांग्रेस ने अपने घोषणापत्र में कहा है कि- भाजपा/एनडीए सरकार द्वारा घोषित नई शिक्षा नीति (एन.ई.पी.) का शिक्षाविदों और कई राज्य सरकारों ने विरोध किया है। शिक्षा एक समवर्ती विषय है और शिक्षा नीति बनाने के राज्यों के अधिकारों का सम्मान किया जाना चाहिए। इसलिए, कांग्रेस राज्य सरकारों के परामर्श से एन.ई.पी. पर फिर से विचार करेगी और उसमें संशोधन करेगी।
वहीं, हमारी टीम ने पाया कि NSA को हटाने की बात नहीं की गई है ब्लिक घोषणपत्र में कहा गया है- राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद (NSC) और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) का कार्यालय संसद की एक चयन समिति की निगरानी में लाया जाएगा।
इंडिया को क्वाड समूह से अलग करने का कोई ऐलान नहीं किया गया है। कांग्रेस ने लिखा है- “कांग्रेस भारत की विदेश नीति में निरंतरता की पुष्टि करती है और इसे कायम रखेगी। स्वतंत्रता आंदोलन ने कांग्रेस के दृष्टिकोण को गहन आकार दिया गया था और जवाहरलाल नेहरू जैसे दूरदर्शी नेताओं के ज्ञान के माध्यम से विकसित किया गया था।”
DFRAC टीम ने पाया कि कांग्रेस के घोषणापत्र में एंटी कन्वर्ज़न लॉ और भारत से न्यूक्लियर हथियार को भी खत्म करने को लेकर कुछ नहीं कहा गया है।
निष्कर्ष:
DFRAC के इस फ़ैक्ट-चेक से स्पष्ट है कि वायरल वीडियो में कांग्रेस द्वारा जारी घोषणापत्र को लेकर किए गए ज़्यादातर दावे भ्रामक हैं। इसलिए, सोशल मीडिया यूज़र का दावा ग़लत है।