सोशल मीडिया पर दैनिक जागरण अखबार का एक विज्ञापन तेजी से वायरल हो रहा है। इस विज्ञापन में लिखे टेक्स्ट में देखा जा सकता है कि मोटे अक्षरों में “एक मुहल्ला एक बकरा” लिखा है। इसके बाद लिखा है- “इस बार बकरीद पर हो सके तो पुरे मोहल्ले मे एक ही बकरे की कुर्बानी दे। इससे अपनापन बढ़ेगा। खून खच्चर कम होगा। पानी की बर्बादी कम होगी। गन्दगी कम फैलेगी। दैनिक जागरण की पहल”
इस फोटो को कई यूजर्स शेयर कर रहे हैं। एक फेसबुक यूजर ने इस विज्ञापन को शेयर किया है। इसमें वह शख्स दावा करता है कि यह “एक मुहल्ला, एक बकरा” का स्लोगन दैनिक जागरण द्वारा बकरीद के मौके पर फ्रंट पेज पर छापा गया था साथ ही कम पानी कम खून खच्चर कम गंदगी होने का सुझाव भी दे रहा है।
वहीं ट्विटर पर एक यूजर ने इस विज्ञापन को शेयर करते हुए सवाल उठाया है- “एक मोहल्ला एक बकरा” “एक चर्च एक मोमबत्ती” “एक चर्च एक क्रिसमस पेड़” “एक शहर एक ताजिया” “एक शहर एक मस्जिद” “एक शहर एक चर्च” “दैनिक जागरण” मे साहस हो तो ऐसे अभियान चलाकर दिखाए।”
वहीं एक अन्य यूजर ने इस विज्ञापन को शेयर करते हुए ऐसा ही सवाल उठाया है।
फैक्ट चेकः
वायरल विज्ञापन का फैक्ट चेक करने के लिए DFRAC की टीम ने सिंपल सर्च किया। हमें इससे जुड़ी कई जानकारी मिली। हमने पाया कि कई यूजर्स ने दैनिक जागरण का एक विज्ञापन शेयर किया है, जिसमें लिखा है- “एक मुहल्ला एक होलिका”
वहीं जब हमने “एक मुहल्ला एक होलिका” और “एक मुहल्ला एक बकरा” वाले दोनों विज्ञापनों की जांच की तो पाया कि दोनों में कई चीजें समान (कॉमन) हैं। विज्ञापन के बाईं तरफ एक लड़की की तस्वीर दिख रही है और उस पर हेडलाइंस में ‘होली’ लिखा है। वहीं बाई तरफ ही आखिरी खबर में ‘टीमें’ लिखा हुआ है। नीचे दिए कोलाज में आप दोनों विज्ञापनों को देख सकते हैं।
वहीं “एक मुहल्ला एक बकरा” वाले विज्ञापन में हिन्दी भाषा की कई अशुद्धियां हैं, जो आमतौर पर एक अखबार में नहीं होती हैं और इस विज्ञापन में वाक्यों का एलाइनमेंट भी स्पष्ट तौर पर सही नहीं है।
निष्कर्षः
DFRAC के फैक्ट चेक से स्पष्ट है कि दैनिक जागरण द्वारा “एक मुहल्ला एक बकरा” का विज्ञापन प्रकाशित नहीं किया गया है। DFRAC की टीम ‘दैनिक जागरण’ के विज्ञापन “एक मुहल्ला एक होलिका” की जांच कर रही है। जांच पूरी होने के उपरांत खबर को अपडेट किया जाएगा।