सोशल मीडिया पर डॉ. भीमराव अंबेडकर का एक ग्राफिकल पोस्टर वायरल हो रहा है। इस पोस्टर में अंबेडकर के साथ सोवियत रूस के “हेड ऑफ़ गवर्नमेंट” रहे ब्लादिमीर लेनिन की फोटो भी लगी है। इस ग्राफिकल फोटो में टेक्स्ट लिखा है- “लेनिन ने अंबेडकर से पूछा- मेरी तो एक मूर्ति टूटी है, तुम्हारी तो रोज टूटती है। लोग तुमसे इतना चिढ़ते क्यों हैं? अंबेडकर ने कहा- लोग हमसे चिढ़ते नहीं, डरते हैं कि कहीं हमें पढ़ लिया तो उनके 4 मुंह और 12 हाथ वाले देवी-देवताओं का अस्तित्व मिट जाएगा।”
इस फोटो को कई यूजर्स ने शेयर किया है। इस फोटो को शेयर करते हुए कृष्ण कुमार जाटव ने लिखा- “अंबेडकरवाद वो आग है जो बुझाने वाले खुद जल जायेंगे, लेकिन आग बुझेगी नहीं। #दिल्ली तुगलकाबाद।”
वहीं कई अन्य यूजर्स ने भी इस पोस्ट को शेयर किया है।
फैक्ट चेकः
वायरल हो रहे ग्राफिकल फोटो का फैक्ट चेक करने के लिए हमने सबसे पहले दोनों नेताओं के समकक्ष होने के लिए उनकी जन्म की तिथि और मृत्यू की तिथि जांच की। लेनिन का जन्म 22 अप्रैल 1870 में हुआ था और उनकी मृत्यू 21 जनवरी 1924 को हुई थी। वहीं अंबेडकर का जन्म 14 अप्रैल 1891 को हुआ था और उनकी मृत्यू 6 दिसंबर 1956 को हुई थी।
हमने पाया कि लेनिन और अंबेडकर के बीच 21 साल की उम्र का फासला है। वहीं इसके बाद हमने अंबेडकर की जीवनी देखी। विकिपीडिया के मुताबिक- 1913 में आंबेडकर 22 वर्ष की आयु में पढ़ाई के लिए संयुक्त राज्य अमेरिका चले गए। जून 1915 में उन्होंने अपनी कला स्नातकोत्तर (एम॰ए॰) परीक्षा पास की, जिसमें अर्थशास्त्र प्रमुख विषय, और समाजशास्त्र, इतिहास, दर्शनशास्त्र और मानव विज्ञान यह अन्य विषय थे। 1916 में उन्हें अपना दूसरा शोध कार्य, भारत का राष्ट्रीय लाभांश – एक ऐतिहासिक और विश्लेषणात्मक अध्ययन (National Dividend of India – A Historical and Analytical Study) के लिए दूसरी कला स्नातकोत्तर प्रदान की गई, और अन्ततः उन्होंने लंदन की राह ली। 1916 में अपने तीसरे शोध कार्य ब्रिटिश भारत में प्रांतीय वित्त का विकास (Evolution of Provincial Finance in British India) के लिए अर्थशास्त्र में पीएचडी प्राप्त की, अपने शोध कार्य को प्रकाशित करने के बाद 1927 में अधिकृत रुप से पीएचडी प्रदान की गई।
लेनिन की मृत्यू 1924 में हो गई थी। जबकि 1922 तक लंदन में पढ़ाई कर रहे थे। इसके बाद उन्हें 1927 में पीएचडी प्रदान की गई। वहीं जब हमने दोनों नेताओं की मुलाकात या फिर उनके बीच वार्तालाप के संदर्भ में गूगल पर सर्च किया तो हमें दोनों के बीच मुलाकात या फिर वार्तालाप का कोई प्रमाण नहीं मिला।
निष्कर्षः
हमारे फैक्ट चेक से स्पष्ट हो रहा है कि अंबेडकर और लेनिन समकक्ष नहीं रहे हैं और दोनों नेताओं के बीच कभी वार्तालाप और मुलाकात के प्रमाण भी नहीं मिले हैं। इसलिए सोशल मीडिया यूजर्स द्वारा किया जा रहा दावा भ्रामक है।
दावा- लेनिन ने अंबेडकर से कहा- लोग तुमसे नफरत क्यों करते हैं
दावाकर्ता- सोशल मीडिया यूजर्स
फैक्ट चेक- भ्रामक