सोशल मीडिया यूज़र्स एक तस्वीर शेयर कर दावा कर रहे हैं कि जसोदा ने अयोध्या में मंदिर निर्माण के लिए 51 लाख,10 हज़ार 25 रूपए का दान किया है। 20 वर्ष की उम्र में पति, उन्हें धराधाम छोड़ गए थे।
यूज़र्स लिख रहे हैं कि- जसोदा ने ये पैसे वृंदावन में दर्शन को आए लोगों के जूतों की रखवाली करके इकट्ठा किए थे।
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फै़क्ट-चेक:
कुछ की-वर्ड की मदद से इस संदर्भ में सर्च करने पर DFRAC टीम को कुछ मीडिया रिपोर्ट्स मिलीं। जिनके अनुसार- 2017 में मध्य प्रदेश के कटनी की रहने वाली 70 वर्षीय विधवा फूलवती ने गौ संरक्षण के लिए अपने जीवन की सारी बचत, 40 लाख रुपये की राशि एक गौशाला के निर्माण और अन्य कार्यों के लिए दान कर दिया था।
navbharattimes, timesofindia & abplive
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार- कटनी की 70 वर्ष की विधवा फूलवती मथुरा के बांके बिहारी मंदिर के गेट नंबर 2 पर जूतों की रखवाली करती हैं।
निष्कर्ष:
DFRAC के इस फ़ैक्ट-चेक से स्पष्ट है कि सोशल मीडिया यूज़र्स का दावा भ्रामक है, क्योंकि जिस महिला को जसोदा बताकर राम मंदिर के लिए 51 लाख का दान करने का दावा किया जा रहा है, वह 70 वर्ष की विधवा फूलवती हैं, जो मथुरा के बांके बिहारी मंदिर के गेट नंबर 2 पर जूतों की रखवाली करती हैं।