अफ़ग़ानिस्तान से अमेरिकी सेना की विदाई और तालिबान द्वारा सत्ता पर कब्ज़ा जमाने की ख़बरों के बीच ही सोशल मीडिया पर भ्राम ख़बरें फैलाने का सिलसिला भी शुरु हो गया। इसी क्रम में मेजर सुरेंद्र पूनिया द्वारा पोस्ट किया गया एक वीडियो वायरल हुआ जिसमें उन्होंने दावा किया कि तालिबान सेनाएं काबुल में अफगानिस्तान के राष्ट्रपति भवन में प्रवेश कर चुकी हैं और उन्हें बहुत ही भव्य तरीक़े से बैठे हुए देखा जा सकता है।
पूनिया द्वारा ट्वीट किये गए वीडियो का स्क्रीन शॉट और आर्काइव लिंक यहां पोस्ट किया जा रहा है।
पूनिया द्वारा ट्वीट किए गए इस वीडियो को ट्विटर पर लगभग 2 लाख व्यूज़ हैं और इसे 7,000 लोगों ने लाइक किया है।
फैक्ट चेक
हमने इस वीडियो को अलग-अलग फ़्रेमों में तोड़कर इससे मेल खाने वाली तस्वीरों की इंटरनेट पर खोज की। जिसके बाद हमारी पड़ताल में हमने पाया कि वीडियो चार दिन पुराना है। चूंकि वीडियो चार दिन पुराना है, तो ज़ाहिर तब तक तालिबान ने काबुल पर कब्जा नहीं किया था, इसके बाद हम इस नतीजे पर पहुंचे कि तस्वीर झूठी हो सकती है।
हमने जो भी खोजबीन की उसमें पाया कि वीडियो में दिखाया गया महल मजार-ए-शरीफ में जनरल दोस्तम का है। वीडियो तब लिया गया था जब मजार-ए-शरीफ को कुछ दिन पहले तालिबान लड़ाकों ने अपने अधिग्रहण में ले लिया था।
इस वीडियो से जुड़े कुछ और फैक्ट
अफगानिस्तान के राष्ट्रपति भवन के अंदर तालिबान का सही वीडियो:
राष्ट्रपति भवन के अंदर तालिबान बलों के सही वीडियो का लिंक नीचे दिया गया है।
इसलिए पूनिया द्वारा पोस्ट किया गया वीडियो भ्रामक है।