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फैक्ट चेक- क्या केंद्र सरकार ने छपी स्कूली किताबों पर लगाया टैक्स?

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सोशल मीडिया पर एक पोस्ट इस दावे के साथ वायरल हो रही है कि केंद्र सरकार ने स्कूली किताबों पर tax लगाया है।

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कई सोशल मीडिया यूजर्स इस दावे को शेयर कर रहे हैं।

फैक्ट चेक-

वायरल दावे की जांच करने के लिए हमने कीवर्ड का उपयोग करके Google पर खोज की और hindubusinessline.com,पर एक रिपोर्ट मिली, उनकी रिपोर्ट के अनुसार किताबों पर कोई जीएसटी नहीं है, लेकिन कीमतें बढ़ सकती हैं|

हमने विभिन्न वेबसाइटों पर इस पर और रिपोर्टें पाईं,रिपोर्ट पढ के हमने पाया, स्कूली किताबों या स्कूल की पाठ्यपुस्तकों पर जीएसटी, ब्रेल पुस्तकों सहित मुद्रित पुस्तकों पर जीएसटी का कोई सटीक उल्लेख नहीं है; और ‘चिल्ड्रन पिक्चर, ड्रॉइंग या कलरिंग बुक्स’ पर शून्य है, जबकि ‘एक्सरसाइज बुक, ग्राफ बुक, और लैबोरेटरी नोट बुक और नोटबुक’ पर जीएसटी 12% है। Authority of Advance Ruling (AAR) ने माना कि जीएसटी का 12% सरकारी विभागों को पाठ्यपुस्तकों की छपाई और आपूर्ति पर लागू होता है, जो माल और सेवा कर (जीएसटी) अधिनियम, 2017 के तहत पंजीकृत हैं।

निष्कर्ष:-

इसलिए मुद्रित स्कूली पुस्तकों पर कोई कर नहीं है, उनकी छपाई और आपूर्ति पर कर है।

Claim Review:- केंद्र सरकार ने स्कूल की प्रिंटेड किताबों पर tax लगाया है।

दावा किया- सोशल मीडिया यूजर्स।

फैक्ट चेक- भ्रामक

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