रूस के हमले के बाद यूक्रेन के हालात भयावह है। भारत के हजारों छात्र यूक्रेन में फंसे हुए है। इन छात्रों को निकालने के लिए भारत सरकार ने ऑपरेशन गंगा शुरू किया है। साथ ही छात्रों की सकुशल वापसी के लिए चार केंद्रीय मंत्री भी पड़ोसी देशों में मौजूद है।
The Russians apparently agreed to a six hour window for allowing safe passage to all Indians in Kharkiv before an all-out assault begins tonight . The deadline is 2130 IST, about 3 hours from now. #UkraineWar
— Nitin A. Gokhale (@nitingokhale) March 2, 2022
इसी बीच राष्ट्रीय सुरक्षा विश्लेषक नितिन गोखले ने बड़ा दावा करते हुए कहा कि यूक्रेन पर चौतरफा हमला करने से पहले रूस भारतीय छात्रों को निकालने के लिए 6 घंटे के लिए युद्ध रोकने पर सहमत हुआ है।
उनके इस ट्वीट के हवाले से एबीपी न्यूज़ सहित कई मीडिया चैनलों ने इस खबर को ज़ोर-शोर से चलाया।
फैक्ट चेक:
उपरोक्त दावे की पड़ताल करने पर हमने पाया कि यूक्रेन से भारतीय छात्रों को निकालने के लिए रूस ने युद्ध नहीं रोका। गुरुवार को विदेश मंत्रालय ने इस ख़बर का खंडन किया है।
MEA denies reports that Russia “stopped the war for 6 hours” in order to facilitate Indians escaping Kharkiv, adds that they received inputs from Russia that prompted them to tell citizens to leave the city and choose certain routes, no “coordination” on Russian missile strikes.
— Suhasini Haidar (@suhasinih) March 3, 2022
द हिंदू की वरिष्ठ पत्रकार सुहासिनी हैदर ने अपने ट्वीट में इस बारे में जानकारी देते हुए लिखा कि MEA ने उन रिपोर्टों का खंडन किया कि रूस ने खार्किव से बचने वाले भारतीयों की सुविधा के लिए “6 घंटे के लिए युद्ध रोक दिया।”
इसके अलावा हिंदुस्तान ने भी अपनी खबर में स्पष्ट किया कि गुरुवार को विदेश मंत्रालय ने इस ख़बर का खंडन किया है कि खारकी से भारतीयों को निकलने देने के लिए रूस ने 6 घंटे तक युद्ध रोक दिया था।
अत: यूक्रेन से भारतीय छात्रों को निकालने के लिए रूस के युद्ध रोके जाने का दावा फेक है।